जिला विधिक सेवा प्राधिकार सुपौल के सौजन्य राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन

जिला विधिक सेवा प्राधिकार सुपौल के सौजन्य राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन

जे टी न्यूज, सुपौल (प्रमोद कुमार):

जिला विधिक सेवा प्राधिकार सुपौल के सौजन्य राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन विधिवत दीप प्रज्वलित कर जिला न्यायाधीश एवं सुपौल जिला अधिकारी सह उपाध्यक्ष जिला विधिक सेवा प्राधिकरण सुपौल, मो अफजल आलम सचिव जिला विधिक सेवा प्राधिकार सुपौल, एवं शरत आर एस पुलिस अधीक्षक सह सदस्य जिला विधिक सेवा प्राधिकार सुपौल ने कार्यक्रम का शुभारंभ किया।राष्ट्रीय लोक अदालत में सुपौल न्याय मंडल में कुल 12 बैंचों का गठन किया गया ,जिसमें सुपौल व्यवहार न्यायालय में 9 बैंच तथा वीरपुर अनुमंडलीय व्यवहार न्यायालय में 3 बेच का गठन किया गया । पक्षकारों के सुलभता के लिए कुल 4 हेल्प डेस्क जिसमें सुपौल में 2 तथा वीरपुर में 2 हेल्प डेस्क बनाए गए। लोक अदालत में वैसे 2595 मामले जो न्यायालय में लंबित है का 374 वादों का दोनों पक्षों के सुलह समझौते के आधार पर निष्पादन किया गया जबकि वाहन दुर्घटना, विद्युत, मापतौल,टेलीफोन , बैंक, वित्तीय संसाधन सहित अन्य के मामलों का निष्पादन किया गया इस प्रकार कुल 1197 मामलों जिसमें प्री लिटिगेशन 823 वाद तथा पोस्ट लिटिगेशन से 374 वादों का निष्पादन हुआ।कुल 1197 वादों के निष्पादन में 4 करोड़ 76 लाख 1 हजार 108 रुपए का हुआ समझौता जिसमें 374 वाद पोस्ट लिटिगेशन में जिससे 1 करोड़ 28 लाख 22 हजार 745 रुपए का हुआ समझौता तथा प्री लिटिगेशन में 823 वादों का निष्पादन जिसमें समझौता राशि 3 करोड़ 47 लाख 78 हजार 363 रुपए।

मोटर दुर्घटना में 10 वादों में 1 करोड़ 18 लाख 50 हजार,बैंक में 669 वादों में समझौता राशि 3 करोड़ 47 लाख 3 हजार 463 रुपया, विद्युत में 143 वादों से 4 लाख 2 हजार रुपया का हुआ समझौता।राष्ट्रीय लोक अदालत में सुपौल न्याय मंडल में कुल 12 बैंचों का गठन किया गया जिसमें सुपौल व्यवहार न्यायालय में 9 बैंच तथा वीरपुर अनुमंडलीय व्यवहार न्यायालय में 3 बेच का गठन किया गया । पक्षकारों के सुलभता के लिए कुल 4 हेल्प डेस्क जिसमें सुपौल में 2 तथा वीरपुर में 2 हेल्प डेस्क बनाए गए। लोक अदालत में वैसे 2595 मामले जो न्यायालय में लंबित है का 374 वादों का दोनों पक्षों के सुलह समझौते के आधार पर निष्पादन किया गया जबकि वाहन दुर्घटना, विद्युत, मापतौल,टेलीफोन , बैंक, वित्तीय संसाधन सहित अन्य के मामलों का निष्पादन किया गया इस प्रकार कुल 1197 मामलों जिसमें प्री लिटिगेशन 823 वाद तथा पोस्ट लिटिगेशन से 374 वादों का निष्पादन हुआ।

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