“गुणवत्तापूर्ण शिक्षा से ही महिलाओं का होगा सम्पूर्ण विकास”: डॉ. नायडू कुमारी

“गुणवत्तापूर्ण शिक्षा से ही महिलाओं का होगा सम्पूर्ण विकास”: डॉ. नायडू कुमारीजे टी न्यूज, मधेपुरा:
अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर, सामाजिक और सांस्कृतिक संस्था प्रांगण रंगमंच के बैनर तले टीपी कॉलेज में एक महत्वपूर्ण कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इस आयोजन में “विकसित भारत में महिलाओं की भूमिका” विषय पर परिचर्चा और नवोदित कलाकारों को सम्मानित करने का कार्यक्रम हुआ। उद्घाटन समारोह में प्रधानाचार्य डॉ. कैलाश प्रसाद यादव, नायडू मेडिकेयर एंड रिसर्च सेंटर की डायरेक्टर डॉ. नायडू कुमारी, नेहरू युवा केंद्र की डेप्युटी डायरेक्टर हुस्न जहां, पूर्व पीआरओ डॉ. सुधांशु शेखर, और प्रांगण के संस्थापक अध्यक्ष डॉ. संजय कुमार परमार ने दीप प्रज्ज्वलित कर कार्यक्रम की शुरुआत की।

महिलाओं की भूमिका पर डॉ. नायडू कुमारी की महत्वपूर्ण बातें
डॉ. नायडू कुमारी ने अपने उद्घाटन भाषण में कहा कि “स्त्री-पुरुष सबों की जननी औरत है। सृष्टि का आधार मां तेरी बदौलत है।” उन्होंने यह भी कहा कि महिलाओं का योगदान हर क्षेत्र में अहम है, लेकिन इसके बावजूद वे अभी भी समाज में पिछड़ी हुई हैं। उन्होंने उदाहरण के रूप में 1951 में संसद में महिलाओं का प्रतिनिधित्व 4 प्रतिशत था, जो 2019 में बढ़कर 14 प्रतिशत हो गया, फिर भी यह आंकड़ा काफी कम है।

डॉ. कुमारी ने महिलाओं को केवल घरेलू कामों तक सीमित न रखने की बात की और कहा कि महिलाओं को शिक्षा देकर हर क्षेत्र में बराबरी पर लाया जा सकता है। उन्होंने कोशी क्षेत्र में महिलाओं की शिक्षा पर चिंता व्यक्त करते हुए कहा कि इस क्षेत्र में केवल 30-35 प्रतिशत महिलाएं शिक्षित हैं, जिनमें से मात्र 5 प्रतिशत को गुणवत्तापूर्ण शिक्षा प्राप्त है।

शिक्षा का महत्व
डॉ. कुमारी ने कहा कि यदि महिलाओं को गुणवत्तापूर्ण शिक्षा दी जाती है, तो न केवल उनके व्यक्तिगत विकास के अवसर बढ़ेंगे, बल्कि समाज और राष्ट्र के विकास में भी योगदान मिलेगा। उन्होंने प्रांगण रंगमंच के कार्यों की सराहना करते हुए नवोदित कलाकारों को सलाह दी कि वे अपनी कला में पूरी मेहनत और समर्पण से सफलता हासिल करें।

सिंहेश्वर महोत्सव और कलाकारों का सम्मान
इस मौके पर सिंहेश्वर महोत्सव में प्रांगण रंगमंच द्वारा बेहतर प्रस्तुति देने वाले कलाकारों को सम्मानित किया गया। प्रधानाचार्य डॉ. कैलाश प्रसाद यादव ने कहा कि एक पूरी तरह शिक्षित महिला समाज के समृद्ध और सशक्त निर्माण में सहायक बन सकती है। उन्होंने सिंहेश्वर महोत्सव में कलाकारों की कला की सराहना की और कहा कि यह महोत्सव समाज में संस्कृति के प्रचार-प्रसार के लिए एक बेहतरीन मंच है।

अन्य वक्ताओं के विचार
डॉ. सुधांशु शेखर ने बाल कलाकारों के कौशल विकास के लिए प्रांगण रंगमंच की पहल को सराहा। वहीं, डॉ. संजय कुमार परमार ने अतिथियों का स्वागत करते हुए प्रांगण के विभिन्न कार्यक्रमों की जानकारी दी और भविष्य में इसे और बढ़ाने की बात की।

समारोह में मौजूद लोग
इस कार्यक्रम में प्रांगण रंगमंच के मैनेजिंग ट्रस्टी दिलखुश कुमार, नीरज कुमार निर्जल, अनीश गौतम, सुरभि, अंतरा किट्टी, संवेदना, ट्विंकल, सिद्धि, साक्षी, शानवी, खुशी, सोनू अहीर, नायरा राज सहित अन्य गणमान्य लोग मौजूद थे।

कार्यक्रम का समापन धन्यवाद ज्ञापन के साथ हुआ, जो सचिव अमित आनंद ने किया। इस आयोजन ने महिलाओं के समग्र विकास के लिए शिक्षा और समाज सेवा की महत्वपूर्ण भूमिका को रेखांकित किया।

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