विश्वविद्यालय के कार्यकलापों को पटरी पर लाने की कवायद जारी, कुलपति ने थामी कमान, गुणवत्ता आश्वासन प्रकोष्ठ की बैठक संपन्न,

कार्यालय, जेटी न्यूज

दरभंगा। स्नातक प्रथम खंड 2020-21 में नामांकन, विभिन्न लम्बित परीक्षाओं का संचालन, पीएच डी आनलाइन मौखिकी परीक्षा का आयोजन, दिसंबर 2020 में पीएटी-2020 परीक्षा आयोजन, एपीजे अब्दुल कलाम महिला प्रोद्योगिकी संस्थान में प्रवेश परीक्षा का परिणाम आदि कार्यों को पटरी पर लाने के बाद अब विश्वविद्यालय तृतीय चक्र के नैक पुनर्प्रत्यायन हेतु तैयारी आरंभ कर दी है। कुलपति प्रो सुरेंद्र प्रताप सिंह ने प्राथमिकता के आधार पर एक एक कर सभी लम्बित कार्यों को संभालना प्रारंभ कर दिया है। उसी कड़ी में आज दिनांक 4. 11. 2020 को माननीय कुलपति महोदय की अध्यक्षता में आंतरिक गुणवत्ता आश्वासन प्रकोष्ठ की बैठक विश्वविद्यालय सभाकक्ष में संपन्न हुई। कुलपति श्री सिंह ने अध्यक्षता करते हुए अपने संबोधन में विश्वविद्यालय के राष्ट्रीय मूल्यांकन एवं प्रत्यायन परिषद द्वारा होने वाले तृतीय चरण के पुनर्मूल्यांकन पर विस्तृत चर्चा की एवं मार्गदर्शन दिया। उन्होंने नैक द्वारा पुनर्मूल्यांकन हेतु दिए गए प्रारूप का अध्ययन कर विभागों, विश्वविद्यालय कार्यालयों से अपेक्षित जानकारी प्राप्त करने हेतु विशेष दिशा निर्देश दिया। इसके अतिरिक्त बैठक में विश्वविद्यालय के आइ क्यू ए सी कार्यालय हेतु उपयुक्त स्थान आवंटन एवं आवश्यक सामग्रियों की आपूर्ति हेतु कुलसचिव को निर्देशित किया गया। माननीय प्रतिकुलपति प्रो डॉली सिन्हा ने भी उपरोक्त विषयों पर अपना विशेष मार्गदर्शन दिया। आइ क्यू ए सी समन्वयक डॉक्टर वर्मा ने बताया कि नैक द्वारा पुनर्मूल्यांकन हेतु विश्वविद्यालय को 31 मई 2021 तक का समय प्राप्त हो गया है। कुलपति एवं प्रति कुलपति के मार्ग निर्देशन में हम आशान्वित हैं कि ललित नारायण मिथिला विश्वविद्यालय को ए प्लस ग्रेड प्राप्त हो जायेगा। इसके लिए दिन-रात परिश्रम करने की आवश्यकता है जिसे करने हेतु सेल तैयार है। उन्होंने सभी विभागों, शिक्षकों, पदाधिकारियों, एवं सम्बन्धित सभी कार्यालयों को इसमें सहयोग हेतु अपील किया है तथा सेल द्वारा भेजे गए प्रोफार्मा को अविलंब उपलब्ध कराने का आग्रह किया है। ज्ञात हो कि विश्वविद्यालय के दूरस्थ शिक्षा निदेशालय का भविष्य नैक के ग्रेड पर निर्भर है । नैक में ए प्लस ग्रेड प्राप्त नहीं होने पर निदेशालय का भविष्य खतरे में पड़ जाएगा। कुलपति महोदय ने इसी बाबत सभी विभागों खास कर केन्द्रीय पुस्तकालय के निदेशक को निर्देशित किया है कि पुस्तकालय में नैक के मानक के अनुसार सारी सुविधाएं हैं या नहीं ? यदि नहीं है तो इसको ध्यान में रखते हुए एक रोड मैप बनाकर आवश्यकता के अनुसार प्रतिवेदन कुलपति महोदय के समक्ष 05 नवम्बर तक समर्पित करें जिसके आधार पर पुस्तकालय को सुदृढ़ीकरण किया जाएगा। बैठक में समन्वयक आइ क्यू ए सी डॉ शिशिर कुमार वर्मा, कुलसचिव डॉ मुश्ताक अहमद , आई क्यू ए सी के पूर्व समन्वयक प्रो बी बी एल दास, विकास पदाधिकारी प्रो के के साहू, हिंदी विभागाध्यक्ष डा राजेंद्र साह , दूरस्थ शिक्षा निदेशालय के निदेशक प्रो अशोक कुमार मेहता, केंद्रीय पुस्तकालय के निदेशक डॉ हिमांशु शेखर ने भाग लिया। अंत में आई क्यू ए सी के समन्वयक द्वारा धन्यवाद ज्ञापन के साथ बैठक का समापन किया गया।

Website Editor :- Neha Kumari

Related Articles

Back to top button