*नियमों की धज्जियां उड़ा कोटा में सहमें पड़े बिहारी छात्रों पर भाजपा विधायक ने छिड़का नमक – राकेश नायक*

-नीतीश व भाजपा ने साबित कर दिया कि वे दोहरे चरित्र के है परिचायक। -लाखों छात्रों के मौलिक अधिकारों का हनन कर रहे है एनडीए की सरकार

संवाददाता। दरभंगा।

कोरोना संक्रमण को लेकर देश में लॉकडाउन 3 मई तक के लिए बढ़ाया तो है। परंतु कोटा में फंसे छात्रों के चेहरे परचिंता की लकीरें और घर पहुंचने की छटपटाहट पर सरकार के रसूखदार विधायक नमक छिड़ककर बच्चों के भावनाओं से खेल रहे है।


सीएम नीतीश कुमार परिस्थितियों के मुख्यमंत्री बनकर रह गए है। जिसकी चाबी साह ओर मोदी के हांथो में है। उसी का परिणाम है कि कोटा में फंसे छात्रों के लिए कुछ न कर पाने की बात कहने वाले नीतीश कुमार को धत्ता बताकर भाजपा विधायक अनिल सिंह अपनी बच्ची को कोटा से बिहार ले आये है। ये कैसा दोहरा चरित्र है एनडीए की सरकार का। यह तो लाखों बच्चों के मौलिक अधिकारों का हनन किया जा रहा है। यह बातें महानगर युवा राजद अध्यक्ष राकेश नायक ने कहीं। श्री नायक ने कहा कि कोटा समेत अन्य राज्यों में फंसे बिहार के बच्चों का दम घुट रहा है। उनका जीवन पानी पीकर सिमट रहा है। सीएम नीतीश कुमार निरंकुशता की सीमाएं पार कर रहे है। नायक ने कहा कि दरभंगा के दर्जनों बच्चों के परिजन लगातार उनके संपर्क में है।

अगर प्रशासन अनुमति प्रदान करती है तो वे निश्चित रूप से कोटा में फंसे बच्चे को सकुशल लाने का वादा करते है। श्री नायक ने नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव के घोषणा को बताते हुए कहा है कि कोटा में फंसे करीब 6500 छात्रों को बिहार लेकर आएंगे। संकट की इस घड़ी में बिहार के भविष्य उन निर्दोष नादान बच्चों को हम ऐसे नहीं छोड़ सकते। तेजस्वी यादव का ये बयान ऐसे समय में आया है जब रविवार को इस बात का खुलासा हुआ कि हिसुआ से बीजेपी विधायक अनिल सिंह, सड़क मार्ग से कोटा जाकर अपनी बेटी को वापस ले आए हैं।

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