खानपुर के अमसौर में विक्षिप्त युवक को गोली मारने की घटना पुलिस के बहसीपन का नमूना है – फूलबाबू सिंह विक्षिप्त युवक को गोली मारने वाले पुलिसकर्मियों पर कारवाई की मांग को लेकर भाकपा-माले करेगा संघर्ष – प्रेमानंद सिंह

खानपुर के अमसौर में विक्षिप्त युवक को गोली मारने की घटना पुलिस के बहसीपन का नमूना है – फूलबाबू सिंह
विक्षिप्त युवक को गोली मारने वाले पुलिसकर्मियों पर कारवाई की मांग को लेकर भाकपा-माले करेगा संघर्ष – प्रेमानंद सिंह

जे टी न्यूज़, समस्तीपुर

खानपुर प्रखण्ड के नत्थूद्वार पंचायत के अमसौर गांव में पुलिस द्वारा विक्षिप्त युवक कुनाल सहनी को सीने पर गोली मारने की घटना के संबंध में भाकपा-माले जिला स्थायी कमेटी सदस्य फूलबाबू सिंह, खानपुर प्रखंड सचिव प्रेमानंद सिंह, रामशंकर शक्सेना , महेश कुमार सिंह, इंसाफ मंच के मो० अलाउद्दीन,मो० सलीम ने अमसौर गांव के ग्रामीणों से रू-ब-रू होकर पूरे घटना में पुलिस की बहसीपन के बारे में जानकारी हासिल किया । फूलबाबू सिंह ने कहा है कि अमसौर गांव के ग्रामीणों ने पुलिस पर हमला नहीं किया है यह खबर पुलिस अपने बचाव के लिए प्रचारित करवा रहा है ।

शराब तश्कर से पुलिस वाले स्वयं शराब तश्करी की धंधा करवाते हैं यह बात सर्वविदित हो गया है । पुलिस वाले ने यह जानते हुए कि कुनाल सहनी विक्षिप्त है उसे गाली से संबोधित कर अपने पास बुलाया । क्योंकि छ: महीने पहले खानपुर थानाध्यक्ष ने स्वयं उसे गिरफ्तार किया था और पूरी तरह से संतुष्ट हो जाने के बाद कि वह युवक विक्षिप्त है सरपंच को बुलाकर उसे रिहा कर सुपूर्द कर दिया था उस दौरान पुलिस वालों ने उसे मारा-पीटा भी था ।

इस तरह, दुसरी बार फिर से पुलिस द्वारा गाली के साथ बुलाने की बात सुनते ही उसने भी पुलिस को गाली दिया । बस, क्या था सैफ की बर्दी पहने पुलिस वाले ने सीना से बंदूक सटाकर गोली मार दिया । यह घटना पुलिस के बहसीपन का नमूना नहीं तो और क्या है ? घायल युवक के इलाज के लिए समुचित प्रबंध किया जाना चाहिए , दोषी पुलिसकर्मियों के विरुद्ध मुकदमा दर्ज हो और पूरे घटनाक्रम की उच्चस्तरीय जांच करा कर दोषी पुलिसकर्मियों के विरुद्ध कारवाई किया जाए ।

भाकपा-माले प्रखंड सचिव प्रेमानंद सिंह ने कहा कि क्योंकि जख्मी युवक को इलाज के लिए थाना की गाड़ी से अस्पताल ले जाया गया था इसलिए पुलिस वालों के खिलाफ ग्रामीणों का आक्रोश बढ़ते देख स्कूल के भवन में उनलोगों को बंद कर दिया गया और वरीय पदाधिकारी के आने पर सभी को जाने दिया गया है । ग्रामीणों ने किसी भी शराब तश्कर को बचाने के लिए पुलिस वालों पर हमला नहीं किया है । यह खबर पुलिस वालों के द्वारा सरासर झूठी प्रचारित करवाई जा रही है । ताकि, घटना के दोषी पुलिसकर्मियों को बचाया जा सके और निर्दोष ग्रामीणों पर झूठी मुकदमा कर परेशान किया जा सके । भाकपा-माले पुलिसिया तांडव को हरगीज बर्दाश्त नहीं करेगा , आने वाले दिनों में न्याय की मांग को लेकर तीखा आन्दोलन करेगा

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